देशवासियों ने गुरुवार को 63वां गणतंत्र हर्षोल्लास के साथ मनाया। इस अवसर पर सैन्य ताकत और समृद्ध सांस्कृतिक विरासत का प्रदर्शन किया गया। राजधानी दिल्ली में मुख्य समारोह राजपथ पर आयोजित हुआ, जहां राष्ट्रपति प्रतिभा पाटील ने ध्वजारोहण कर परेड की सलामी ली।
PM ने दी शहीदों को श्रद्धांजलि
गणतंत्र दिवस पर आयोजित मुख्य समारोह में थाईलैंड की पहली महिला प्रधानमंत्री यिंगलक शिनावात्रा मुख्य अतिथि के रूप में शामिल हुईं। समारोह की शुरुआत सुबह 10 बजे हुई। प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने इंडिया गेट स्थित अमर जवान ज्योति पर पुष्पचक्र अर्पित कर शहीदों को श्रद्धांजलि दी। इसके बाद राजपथ पर सेना के जवानों ने मार्च पास्ट किया और कंधे से कंधा मिलाते हुए राष्ट्रपति तथा मंच पर आसीन अन्य गणमान्य व्यक्तियों को सलामी दी।
राज्यों की निकली झांकियां
दिल्ली क्षेत्र के कमांडिंग ऑफिसर लेफ्टिनेंट जनरल विजय कुमार पिल्लई और उनके सहयोगी मेजर जनरल राजबीर सिंह ने परेड का नेतृत्व किया। मार्च पास्ट करने वाले सैन्य दस्ते में 61वीं घुड़सवारी दल, पैराशूट रेजीमेंट, बंगाल इंजीनियर ग्रुप एंड सेंटर, ब्रिगेड ऑफ गार्ड्स, कुमाऊं रेजीमेंट, असम रेजीमेंट, मैहर रेजीमेंट, गोरखा रायफल्स रेजीमेंट और कॉर्प्स ऑफ मिलिट्री पुलिस शामिल है। नौ सेना के दस्ते का नेतृत्व लेफ्टिनेंट कमांडर मणिकंदन के. ने किया।
स्नेहा शेखावत ने रचा इतिहास
इतिहास में पहली बार वायु सेना के दस्ते का नेतृत्व किसी महिला ने किया और यह कामयाबी फ्लाइट लेफ्टिनेंट स्नेहा शेखावत के नाम रही। अर्धसैनिक और अन्य सहायक बलों के दस्ते में सीमा सुरक्षा बल, केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल, असम रायफल, भारत-तिब्बत सीमा पुलिस, तटरक्षक बल, सशस्त्र सीमा बल, केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल, रेलवे संरक्षण बल, दिल्ली पुलिस, नेशनल कैडेट कॉर्प्स और राष्ट्रीय सेवा योजना के जवान शामिल थे।
इस अवसर पर 23 राज्यों और केंद्रीय मंत्रालयों की झांकी भी प्रदर्शित की गई, जिसमें देश के इतिहास, वास्तुशास्त्र एवं सांस्कृतिक विरासत को दर्शाया गया। बिहार की झांकी में पर्यावरण और बेटी के महत्व को दर्शाया गया। इसके जरिये भागलपुर के एक गांव की उस परम्परा से देशवासियों को परिचित कराया गया, जिसमें बेटी के जन्म पर 10 फलदार पेड़ लगाए जाते हैं
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